बड़ा पायाब रिश्ता है मेरा मेरी ही हस्ती से
ज़रा सी आँख लग जाये, मैं ख़ुद को भूल जाता हूँ
(पायाब: shallow)
अंतिम दिन जीवन के यदि ये
पीर हृदय की रह जाए
के दौड़-धूप में बीत गए पल
प्रियतम से कुछ ना कह पाएँ
बड़ा पायाब रिश्ता है मेरा मेरी ही हस्ती से
ज़रा सी आँख लग जाये, मैं ख़ुद को भूल जाता हूँ
(पायाब: shallow)
बड़ा पायाब रिश्ता है मेरा मेरी ही हस्ती से ज़रा सी आँख लग जाये, मैं ख़ुद को भूल जाता हूँ (पायाब: shallow)