Saturday, December 21, 2013

चंदा कोई बात तो कर

चंदा कोई बात तो कर
कैसे होगी ये रात गुज़र

कह भी तो दे दिल की लगन
प्यार है क्या, क्या है चुभन
हाल पे है किसका असर
चंदा कोई बात तो कर

मैं ही कहूं मैं ही सुनूँ
उदास रहूँ, ख्वाब बुनूं
कबतक यूँही हो उम्र बसर
चंदा कोई बात तो कर

तनहा रहा तन्हा जिया
दर्द लिया, प्यार दिया
तू ही बता कब होगी सहर
चंदा कोई बात तो कर

नींद में हैं सारा शहर
जाग रहा मैं हूँ मगर
आजा मेरे कमरे में उतर
चंदा कोई बात तो कर

No comments:

उन पे रोना, आँहें भरना, अपनी फ़ितरत ही नही

  उन पे रोना, आँहें भरना, अपनी फ़ितरत ही नहीं… याद करके, टूट जाने, सी तबीयत ही नहीं  रोग सा, भर के नसों में, फिल्मी गानों का नशा  ख़ुद के हा...